हर किसी को अपनी बात कहना का अधिकार है दिल तो तुम्हारा भी जानता है कि आज इतवार है मौसम हसीं है और हल्की बूंदा-बांदी पास ही एक ब्रेड-पकोडे की दुकान है एक तरफ तुम हो और दूसरी तरफ चाय है अब तो बस गरमा-गर्म पकोड़े का इंतज़ार है { तुमसे मिलना-मिलते रहना कैसा लगा है सच पूछो तो अच्छा लगता है उसकी बाते उसकी आँखें और उसका ठेहराव उसके आगे पूछो मत कैसा लगता है } ©abhisri095 #लगता_है