सुख और दुख मैं ज़्यादा अंतर नहीं होता जिसे मन स्वीकारे वो सुख और जिसे अस्वीकार करे वो दुख होता है सारे खेल अपने स्वीकृति और अस्वीकृति की होती है ।। #सुखदुःख