आँचल ************ हर एक नदी का पानी, "गंगाजल" हो नहीं सकता। हर एक तरह का कालिख, "काजल" हो नहीं सकता। उसी तरह मैं कैसे ख़ुश रहलूँ? करोड़ों की दौलत में। हर एक कपड़े का टुकड़ा माँ का, "आँचल" हो नहीं सकता। -Rekha Sharma "मंजुलाह्रदय" #आँचल #maa #Nojoto #Rekhasharma