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जिसके जन्म से धन्य हुआ काशी का कण-कण वीरोचित गुण

जिसके जन्म से धन्य हुआ काशी का कण-कण
  वीरोचित गुणों से भरा हुआ था जिसका बचपन
 मृदुल, कठोर और साहस का थी वह अद्भुत संगम
 बन झांसी की लक्ष्मी उसने लहराया परचम
 कुछ कुटिल फिरंगियों ने मिलकर ज़ब किया प्रहार
 झांसी के जन-जन में व्याप्त था हाहाकार
 "मैं अपनी झांसी नहीं दूंगी" कहा था उसने भर हूंकार
 जो दे गई जान की बाजी सुन धरती की पुकार
 लक्ष्मी थी, काली थी,दुर्गा थी, थी वह नारी शक्ति
 सिखा गई जो अपने पराक्रम से अनुपम देशभक्ति
  ऐसी अमर वीरांगना को नमन करें 'स्मृति' बार-बार
 कभी ना कम होगा रानी के लिए बुंदेलों का प्यार ||
 जन्मदिवस की अशेष बधाई

©स्मृति.... Monika
  #रानी लक्ष्मीबाई जन्म दिवस#2023

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