सीख रही हु ज़िंदगी,तुझ से निपटना,मै भी तू फुर्सत से तोड़ मुझे,मैं भी,सम्भल जाने का हुनर आज़मा कर देखूं तेरे भी हौसले थक जाएंगे,आ तेरे पैर दबा कर देखूं तू भी थोड़ी मायूस तो होगी,हिम्मते मेरी देख कर आ तुझ को ज़रा हंसा कर देखूं,तूने मुझ सा मुश्किल शख्स भी देखा कहा होगा,मैं इंतहाई मुश्क़िल हु तुझ को बता कर देखूं मुझ को रुसवाइयों की आदत है, तू मगर उदास मत हो,आ तुझ से प्यार जाता कर देखूं मैं फिर भी मुस्करा कर,गले लगाऊंगी तुझ को तेरी आंखों पे शायद कोई पर्दा हो आ सारे लिहाफ हटा कर देखूं तू बेशक सख्त रख रवैए मुझ तक,आ ज़रा करीब तो आ तुझ पर सब नर्मीया लुटा कर देखूं यू थक सी जाएगी मुझ से नफ़रते करते करते मोहब्बत चीज़ क्या है आ तुझ को,सिखा कर देखूं... ©ashita pandey बेबाक़ #Thinking success मोटिवेशनल कोट्स मोटिवेशनल कोट्स शायरी मोटिवेशनल मोटिवेशनल कोट्स हिंदी