तरस गए .. हम घर से निकलने को जहां चाय के बहाने जश्न ए शान मनाते थे तरस गए .. हम घर से निकलने को जहां अजीज यारों की महफ़िल खत्म ही नहीं होती तरस गए हम .. वो जश्न ए बहार देखने को जहां चलते जमावड़े वहीं आ पहुंचते थे तो हम भी मैमे के दौर के ... तरस गए हम .. पार्टियों मनाने को सोचा था .. करेंगे बातें अपने अनुजो के संग ..!! तरस गए दिन घर से निकलने को !! सोचा था गुरुजी संग मस्ती करेंगे रेस्तरां में करेंगे पार्टी ... तरस गए दिन विश्व विद्यालय जाने को !!! तरस गए हैं... #तरसगए #collab #yqdidi #YourQuoteAndMine Collaborating with YourQuote Didi