कम्बख्त का मारा कैसा ये कोरोना है इसके चक्कर में बाबू से दूर हुआ शोना है घर में बैठे कैद कई, जाना इनको बाहर, मच रखा रोज का इनका रोना है कई पतियों के आये बुरे दिन बर्तन भांडों को अब से धोना है बड़ा घर भी लगता छोटा सा इन्होंने छान डाला हर एक कोना है जाग रहे है रात रात भर अब टाइम से किसने सोना है कब खत्म होगा ये लॉक डाउन कम्बख्त का मारा कैसा ये कोरोना है #corona #rojkarona #babu #shona