यूँ तो हम लोगों से, मुलाकात करते रहे........... जिससे भी मिले हम, तुम्हारी बात करते रहे........ हमने तो की थी वफ़ा, तुमसे उम्र भर टूटकर......... और एक तुम थे जो, दगा हमारे साथ करते रहे.... सोचा था तुमको देंगे, सज़ा दगा करने की........... मगर तुम्हें खो न दें, इस बात से डरते रहे.......... साथ-साथ जीने की, कसमे खाई थीं हमने.......... चलाकियाँ तुम मेरे, दिल के साथ करते रहे....... तुम किसी और के साथ, जीते रहे ज़िंदगी अपनी........ और इधर हम तुम्हारी, फ़िक्र में दिन-रात मरते रहे...... ©Poet Maddy यूँ तो हम लोगों से, मुलाकात करते रहे........... #MeetUp#Conversation#Love#Cheat#Punish#Fear#Oath#Tension......