इन सियासत की दुकानों पर जाने ताले कब लगेंगे। इन सियासतदानों के जाने कब खंडर महल बनेंगें। बात बराबरी की हैं साहब दर्द की बराबरी दर्द को करने दो, रोटी का मोल रोटी को धरने दो । जिन्हें परवाह नही भूख की, उन्हें भूखो से क्या मतलब । जब कटेगी ऊँगली उनकी भी , तो दर्द का अहसास उन्हें भी होगा। अभी तो बस गरीब के रक्त का रंग ही लाल हैं बस यही दीखता हैं । जो बहेगा रक्त उनका , तो अहसास उन्हें भी होगा। feel by heart~neer~breath of pain #sunlight #roshni hain kha es lia unhe bhi andhera de do