आ गई कोई परी सी ज़िंदगी में छा गई नई लहर सी फिर कही से प्यार से आई प्यार ले के आई दिल समुंदर है पता नहीं कहां से आई भेजी हो रब ने खुद ही से फुर्सत से सजी हुई अपने घर से तराशा गया हो जिसको महोब्बत से चाहत है उसके कण कण में दुआ है दवा है उसकी हर बात एक शफा है वादा किया है ना होगी जुदा रहेगी साथ मेरे जब है जां ©Dr Supreet Singh #Angle