धुन एक धुल सी सवार है मानो जैसे कोई जीने को तैयार है एक चाहतों का हौसला है जैसे मानो चिड़ियों का कोई घौसला है जो कुछ विखरा सा है फिर भी सुसझने को तैयार हैं हवाओं के झोंकों से डरने वाला अब हाल नहीं है इसका ये धुन ऐसी चढ़ी है सिर पर कि सबकुछ बेहाल है dhun se swar hai