उस पल की अहमियत को हम बताये कैसे उस दिन की खासियत को अपनी कविताओं में सजाये कैसे अनजान राहों पर वो एक-दूसरे से मिले लेकर हाथों में हाथ संग वो चले मुश्किलें लाख राहों में आयी मगर हमसफ़र थे वो साथ छुट जाये कैसे अहमियत क्या है मेरे ज़िन्दगी में उनकी वो तो अनमोल है मोल उनका हम अपने लब्जो से बताये कैसे जिंदगी दी जिन्होंने मुझे उसकी मीठी लोरी और स्नेह के अहसास को भूल जाये कैसे खुद के सुख को भुल कर की जिस भगवान ने दी ये जिंदगी उस माता-पिता की सुखे होंठों पर फिर वो हंसी वो मुस्कान लाये कैसे अहसान जिनके थे हमारे सिर पर उस दानी का कर्ज चुकाये कैसे? Navneet Kaur Sangya Venu Anil Kewat Deepa Kumari Wakil Mandal