अश्क से चेहरे से अपने वो अयां करता है हाल ए दिल अपना वो कुछ ऐसे बयां करता है वो तो हर हाल में राजी है रजाए रब पर अपनी तक़दीर का वह शिक्वा कहां करता है साक़िब आज़मी चार मिसरा @साक़िब आज़मी