बीते पल में मैं अपना सबकुछ गवा आया उसके पास ही खड़ा था कि एक बात तक ना कर पाया ना जाने क्यूं शक करती है वो मुझ पर ओर इल्ज़ाम लगाती है कि तू बातें ओरो से करता है मुझे अलग कर, अरे जो कुछ भी करता हूँ तेरे भले के लिए करता हूँ वर्ना मुझे भी अछा नही लगता तेरा दिल दुखा कर।। -v.kataria sadness vishal popli