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दुनियाँ अजीव है न! अंग के लिए ; अपनो का संग छोर

दुनियाँ अजीव है न!

 अंग के लिए ;
अपनो का संग छोर जाते हैं
स्थितियाँ बदलना तो छोरो,
वे अपनो को भुल जाते हैं;
अंग-रंग के भ्रम में पङ कर,
अपनों का याद नहीं आती;
जब-तक आखें खुलती है,
तब-तक देर है ,हो जाती।

©Mk Bihari अंग-रंग का चक्कर
 
#Journey
दुनियाँ अजीव है न!

 अंग के लिए ;
अपनो का संग छोर जाते हैं
स्थितियाँ बदलना तो छोरो,
वे अपनो को भुल जाते हैं;
अंग-रंग के भ्रम में पङ कर,
अपनों का याद नहीं आती;
जब-तक आखें खुलती है,
तब-तक देर है ,हो जाती।

©Mk Bihari अंग-रंग का चक्कर
 
#Journey
mkbihari7027

Mk Bihari

New Creator

अंग-रंग का चक्कर #Journey #विचार