आंख मेरी महीनों से सोई नहीं चुप है लेकिन अभी तक ये रोई नहीं मन समंदर बहुत ही उमड़ते रहे आंसुओं ने मगर लाज खोई नहीं #hindipoetry #muktak #hindiquotes #hindiwriters #manojkumarmanju #manju