सोचा था हमराज़ है थोड़ा सा ही नाराज़ है मालूम न था हठधर्मिता का शुक्र है हम आज़ाद हैं नमस्ते दोस्तों। हमारा प्रथम चैलेंज है मुक्तक। पहले इस विधा का रूप समझते हैं। मुक्तक चार पंक्तियों पर आधारित वह काव्य विधा है जिसकी पहली, दूसरी और चौथी पंक्ति समान तुकांत वाली होती है। उदाहरण:- हिंद के वीरों को मेरा कोटि कोटि प्रणाम है नाम उन्हीं के सुबह मेरी, नाम उन्हीं के शाम है