वफ़ा को आज़माना चाहिए था , हमारा दिल दुखाना चाहिए था आना न आना मेरी मर्ज़ी है , तुमको तो बुलाना चाहिए था हमारी ख्वाहिश एक घर की थी, उसे सारा ज़माना चाहिए था मेरी आँखें कहाँ नाम हुई थीं, समुन्दर को बहाना चाहिए था मुझसे पहले वो किसी और की थी, मगर कुछ शायराना चाहिए था चलो माना ये छोटी बात है, पर तुम्हें सब कुछ बताना चाहिए था तेरा भी शहर में कोई नहीं था, मुझे भी एक ठिकाना चाहिए था कि किस को किस तरह से भूलते हैं, तुम्हें मुझको सिखाना चाहिए था humko sikhana to chahiye tha 😔😔