कुछ अल्फज़ :- "ठरक बाज़ारों में घूमती है! निगाहें करवटों को घूरती है! हवस तलब सी मचलती है! प्यास दीदार से कहाँ मित्ती है! यौवन छुने से निखरता है! बदन बिस्तर पे थिरकता है! धड़कने सासों संग झूमती है! अंगड़ाई रात भर जिस्मों संग लीपटी है!" ©ALFAZ DIL SE #loversday #DrDanQuote #drdabpoetry #lust #Sex #dirtytalk #dirtymind love poetry in hindi