__ज्ञान के सागर__ आंखों में सूरज से रोशनी, होठों पर है जिनके मधुर सी मुस्कान। जिसका मन कुछ नया , करने की चाह है रखता। वह है गुरुदेव आप.... हर पल दोस्ताना रखा जिसने, सबके दिलों को छुआ जिसने। वो हे गुरुदेव आप.... करुणामय वो शब्द आपका , मुस्कुराते रहो है कितना प्यारा। खुशियों की सौगात अपनी मुट्ठी में भर कर , सपनों को साकार करने का हौसला दिलाया। जिसका मन है रहता नदी की तरह पवित्र सदा वह है गुरुदेव आप........ है मुझको मालूम अंधेरों में , दियो कि लोह है लहराती। है मुझको मालूम अंधेरों के , ऊपर जलती है बाती। आप के अपार ज्ञान ने सबके अंधेरों को मिटाया। उजाला किया जिसने सबके चेहरों पर। वह है गुरुदेव आप....😊🙏 Dedicate for my favourite teacher this poem dedicate for my favourite teacher 🙏🙏🙂