जीत के लिए तू यादे सफलता की खुशनुमा प्यारी रख जीत ने से पहले ; जीत की , तैयारी रख सारी रख बातें याद ; जो , आवश्यक है लगा ले जोर पूरा न कोई कसर बाकी रख कवि अजय जयहरि कीर्तिप्रद जीत के लिए.....कीर्तिप्रद