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तेरी कातिल अदा कभी नजरें मिलाना फिर नजरें झुकाना अ

तेरी कातिल अदा कभी नजरें मिलाना फिर नजरें झुकाना अच्छा लगा।
कभी दूर जाकर कभी पास आकर खिलखिलाना मुसकुराना अच्छा लगा।
शायरः-शैलेन्द्र सिंह यादव
 #NojotoQuote शैलेन्द्र सिंह यादव की शायरी तेरी कातिल अदा।
तेरी कातिल अदा कभी नजरें मिलाना फिर नजरें झुकाना अच्छा लगा।
कभी दूर जाकर कभी पास आकर खिलखिलाना मुसकुराना अच्छा लगा।
शायरः-शैलेन्द्र सिंह यादव
 #NojotoQuote शैलेन्द्र सिंह यादव की शायरी तेरी कातिल अदा।

शैलेन्द्र सिंह यादव की शायरी तेरी कातिल अदा।