तुम तो लाये दारू देशी,प्यास क्या बुझाओगे। तुम तो लाये दारू देशी,प्यास क्या बुझाओगे। एक बोतल....एक बोतल.... एक बोतल देकर के ,तुम तो भग जाओगे। एक बोतल देकर के ,तुम तो भग जाओगे। तुम तो लाये दारू देशी,प्यास क्या बुझाओगे। जब तुम्हें अकेले में दारू देने की याद आएगी... "भगे-भगे से रहते हो क्यों? भगे-भगे से रहते हो ध्यान किसका है? ज़रा बताओ तो चुनावी इम्तिहान किसका है? हमें मत पिलाओ इंग्लिश दारू मगर ये तो याद ही होगा, मुहल्ले में बड़ा खानदान किसका है?" जब तुम्हें अकेले में दारू देने की याद आएगी... जब तुम्हें अकेले में दारू देने की याद आएगी। जीतने की...जीतने की... जीतने की चाहत में दौड़े - दौड़े आओगे। जीतने की चाहत में दौड़े - दौड़े आओगे। तुम तो लाये दारू देशी,प्यास क्या बुझाओगे। तुम तो लाये दारू देशी,प्यास क्या बुझाओगे। #पंचायतचुनाव2021 #हास्य_विनोद #वोटर_की_आवाज #भाग-1 #विश्वासी