भगवान ने दिया ये दिमाग, जिसमें छिपे हैं हीरे मोती। फिर भी ढूंढता फिरता हूं, कि खजाना कहा है। रास्ता भी मैं हू, मंजिल भी मैं हूं, देखो मुझ पागल को पूछता फिरता हूं दूसरों से, कि जाना कहां है। ©manwinder Singh #Destiny #desire #Himself #findingyourself #Way #Nojoto #fourlinepoetry