चीज जिसे दिल कहते हैं भुल गए रखकर कहीं, छोड़ गये आप थे जहां हमे आज भी हम खड़े है वहीं, पर अब मुझसे तेरा इंतज़ार नहीं होता था जो तुझपर एतबार उस पर एतबार नहीं होता, तुमने तो मेरे दिल को समझ लिया था शायद कोई खिलौना, पर अब तो तुमसे ही ज्यादा खुद का दिल ही लगता है मुझे अपना।। #Vo_chiz_jise_dil_kehte