क्या बहाना बनाए तुम बताओ, तुमसे मिलने का या तुमसे दूर होने का, पास होकर भी कुछ लफ्ज़ अधूरे है, उन्हें खोने का । क्या बहाना बनाए तुम बताओ । अब मिजाज बदल चुका है कुछ वक़्त बदल चुका है, हालात नही संभलते अब, थोड़ा सुकून बदल चुका है, ख्वाबो की फरमाइशों से बंधा वो दरिया सूख चुका है, वक़त बे वक़त अब वो जरिया थम चुका है । क्या बहाना बनाए तुम बताओ । तुम्हारी याद मे दिल जलाते है, बात करने की आस हर रात लगाते है, अफसोस बयां ना कर पाना, शायद यही जख्मो पर मरहम लगाते है , भूल जाते अगर तो क्या बढ़िया होता , तिल तिल कर मरना अच्छा होता? क्या बहाना बनाए तुम बताओ । ©Jzbaat❤️se #New #poem #Nojoto #Love #jzbaatdilse #SunSet #lost #Happy #WatchingSunset मुसाफिर... shivani Dhiman