बटें पडे़ है सब अाजकल धर्मो में सुरज के भी टुकडे़ करले अरे भाई चाँद तारों की एक ही तो छत होती है जैसा तेरा खून वैसा मेरा खून फिर ये जात पात कहा से आ गयी भाई की आँखें भी आजकल धुर्त होती है तेरा आये सावन तो मेरा भी आये सावन कोई समजे तो बताना क्यों ये सरहद होती है #RELIGION #HUMANITY