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इतने जल्दी तुम कैसे थक गई दोस्त???? अभि आंगे और चल

इतने जल्दी तुम कैसे थक गई दोस्त????
अभि आंगे और चलना बांकी है ,,  
तुम खुद की ही दोस्त हो , ऐ आँसू अच्छे नहीं लगते , 
हंसो तुम खूब,  दोस्त,, 
प्यार करो खुदसे खूब, यहां प्यार तुम्हे भीख में भी ना देगा कोई,, 
गिरकर उठना ही तो जिंदगी है ,, 
फिर कैसे हार को गले लगा सकती हो? 
कैसे खुदको इतना मामूली समझ सकती हो?? 
उठो आंगे देखो खुशियां कित्ती हैं,
तुम कित्ती प्यारी हो , 
अरे ! तुम्हे तो जिंदगी से कित्ते धोखे मिले हैं और तुमने झेले हैं ,, 
आंगे और धोखे झेलने भी तो हैं , 
ऐ अब ना यार , चल मान जा ना यार ,,
No रोना - धोना , इस पापी दुनिया को हंसती हुई शक्ल भी तो दिखानी है , 
गर रोते देख लिया , तो लाचार बिचारी बोलके मजाक बना देंगे तेरा ,,
ना बना पाये तेरा मजाक दुनिया , खुदको दे हौंसला , 
 हंसले यार, तेरी हंसी बहुत प्यारी , 
नहीं मिल ना किसी का प्यार तुझे ,
तो कम से कम खुदको , खुदका ही प्यार देदे , ।

©Nehu Dee.kalam
  #safar zindagi ka kat jayega dheere dheere khudke santh🙃

#safar zindagi ka kat jayega dheere dheere khudke santh🙃

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