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सुनो न सारा जहां चाहने लगा है हमे । एक तुम हो जो ज

सुनो न सारा जहां चाहने लगा है हमे ।
एक तुम हो जो जो नफरत की तकिया लगाये लेटी हो।
जाने कितने लवो की मुस्कान बन रहे हैं गीत मेरे ।
 तुम अपने अधरो पर गुमनामी का बखिया लगाये बैठी हो ।।।
गंगवार अनिल 
 #NojotoQuote शायरी
सुनो न सारा जहां चाहने लगा है हमे ।
एक तुम हो जो जो नफरत की तकिया लगाये लेटी हो।
जाने कितने लवो की मुस्कान बन रहे हैं गीत मेरे ।
 तुम अपने अधरो पर गुमनामी का बखिया लगाये बैठी हो ।।।
गंगवार अनिल 
 #NojotoQuote शायरी