ना हमने जताया ना कभी इकरार हुआ फिर कोई और उनका हुआ.. यूँ कि हमारा इश्क़ किनारा हुआ ।। अब ना किसी से ताल्लुकात है और ना ही मन करता है.. कि हाल हमारा यूँ दर-बदर हुआ ।। इसीलिए हर रात मुझे अब जगाए रखती है उसकी याद...तो सुबह आँखे लाल सुर्ख है.. कि रात भर पढ़े है ये बहाना हुआ।। कुछ दिन बाद मेरा इम्तिहान है और फेल होने का कोई डर नहीं.. कि उसके इश्क़ में मैं इतना लापरवाह हुआ।। I just want to give it a hilarious but true ending. #midnightthoughts #confrontingthetruth