#उम्मीदों का #शहर______ दिल्ली की दास्तांन... आखिर इस #शहर को अखिर हुआ क्या.है ?? जहां भी देखो #धुआं ही #धुआं है सुना था हमने कि #दिल्ली में #प्रदुषण कम हुआ है,,, लेकिन यह #शहर तो #आक्सीजन को #तरस हुआ है. यहां #जुमले #बाजी वाली #सरकार का #भाषण चल रहा है और ...#आम #आदमी #बिजली फ्री, #पानी फ्री, के #चक्कर में पल पल #मर रहा है,,, इस #शहर में तो #धर्म के #ठेकेदार बैठे हुए हैं.......जो #हिंदू #मुस्लिम को #लड़ा कर अपनी #कुर्सी को बचाने में लगे हैं, जिन्हें #देश की #भविष्य की कोई #चिंता नहीं है और इसी #शहर में #चंद कुछ ऐसे गद्दार भी पड़े है जो खाते तो भारत के_____है और गुणगान अपने नजायज बाप पाकिस्तान कि किया करते हैं....... //भईया फिर कहेको दिल्ली // //जहां दिल ही नहीं मिलते// /-/emant Sharma..✍️ //भारत माता कि जय// #हर हर महादेव। जय हिन्द.......