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महामृत्युंजय मंत्र का अर्थ त्र्यंबकम् - तीन नेत्रो

महामृत्युंजय मंत्र का अर्थ
त्र्यंबकम् - तीन नेत्रोंवाले
यजामहे जिनका हम हृदय से सम्मान
करते हैं और पूजते हैं
जो एक मीठी सुगंध के समान हैं
फलने फूलनेवाली स्थिति
जो पोषण करते हैं, बढ़ने की
शक्ति देते हैं
सुगंधिम
पुष्टिः
वर्धनम्
-
उर्वारुकम्-
इव
बंधनात्
मृत्योः
-
-
-
मृत्यु से
मुक्षीय हमें स्वतंत्र करें, मुक्ति दें
मा
न
अमृतात्
अमरता,
मोक्ष
-
ककड़ी
जैसे, इस तरह
बंधनों से
-
मुक्त
करनेवाले

©KhaultiSyahi #mahashivratri #Mahamrityunjaya #Shiva #khaultisyahi #mantra #praytoparmatma #Life_experience #Truth
महामृत्युंजय मंत्र का अर्थ
त्र्यंबकम् - तीन नेत्रोंवाले
यजामहे जिनका हम हृदय से सम्मान
करते हैं और पूजते हैं
जो एक मीठी सुगंध के समान हैं
फलने फूलनेवाली स्थिति
जो पोषण करते हैं, बढ़ने की
शक्ति देते हैं
सुगंधिम
पुष्टिः
वर्धनम्
-
उर्वारुकम्-
इव
बंधनात्
मृत्योः
-
-
-
मृत्यु से
मुक्षीय हमें स्वतंत्र करें, मुक्ति दें
मा
न
अमृतात्
अमरता,
मोक्ष
-
ककड़ी
जैसे, इस तरह
बंधनों से
-
मुक्त
करनेवाले

©KhaultiSyahi #mahashivratri #Mahamrityunjaya #Shiva #khaultisyahi #mantra #praytoparmatma #Life_experience #Truth