मन उसी से मिलाओ जो तुम्हे निभा सके अंधेरी रातों में प्रकाश जगा सके परिस्थितियां हो विषम अगर तो हिम्मत बंधा सके मन उसी से मिलाओ जो तुम्हे निभा सके राजेश शर्मा ©Rajesh Sharma मन उसी से मिलाओ जो तुम्हे निभा सके