बादल गरजत अचरज है, जो झन झनकार की मूरत है । तुझमें भी इक सूरज है, रश्मि की अभी जरूरत है ।। कर चीर मेघ के छावन को, आभा धरणी पे उतरती है । जहँ अंधकार हो मनु त्वच में, किरणें लव स्पर्शन करती हैं ।। सुप्रभात Everyone.. Much Love.. #मेरासूरज #collab #yqdidi #alokstates #appu #morning #कविता #रश्मि