गर हम इबादत कर ले दूसरे मज़हब की? क्या हमारा खुदा,बडे़ दिल वाला नाराज़ हो जाएगा? वो नाराज़ नहीं होगा,वो तो एक हैं। तुम्हारा ही मन तुमको खाता है,जो तुम इबादत तो दूर ज़िक्र तक करना अपने मन में गुनाह समझते हो ।। क्या ढूँढते हैं हर दम क्या खो गया हमारा। #खोगयाहै #collab #yqdidi #YourQuoteAndMine Collaborating with YourQuote Didi