इन्तजार तो हमें उस पगली की है जो बेवजह ही मुंह मोड़ गयी थी,, बिना बताए ही वो पगली, इस नाजुक दिल को तोड़ गयी थी,, क्या बताए हम दर्द दिल की परेशानी वो मुझे मझधार में ही बहता छोड़ गयी थी #nojoto #best sad sayari #poems