Unsplash थक गया हूँ रास्तों पर अकेला चलते - चलते , अब सुकून की नींद सोना चाहता हूँ छोड़ कर हसीनों का पीछा , किसी एक का होना चाहता हूँ बहुत छुपा लिए अपने आंसू दुनिया के डर से आज किसी की गोद में सर रख कर रोना चाहता हूँ मैं भी एक इंसान हूँ कोई भगवान् तो नहीं जितना आप सब सोचते हो उतना महान तो नहीं रह गया तन्हा आज ज़माने की भीड़ में मैं भी किसी की चाहत भरी आँखों में खोना चाहता हूँ लिखता हूँ हर रोज़ अपने दिल की बात शायद मेरी किस्मत में भी आ जाएं किसी की ज़ुल्फ़ों की बरसात जरूरत हैं हम सबको मोहब्बत समझने की , जिस्मो के खेलों में क्या कभी सच्चा इश्क़ मिलता हैं हुस्न के मेलों में सब याद करें जिसको अपने चेहरे की मुस्कान बना कर अपनी शायरी से ऐसे कर्मों के बीज बोना चाहता हूँ बहुत जी लिया अपने ही अल्फाज़ो की परछाई में आज मैं भी अपनी रूह को मोहब्बत से भगोना चाहता हूँ तोड़ कर खुदा की कसमों को , छोड़ कर समाज की रस्मो को अपने तन और मन से किसी एक का होना चाहता हूँ ज़िंदा रहे हमारी पहचान मरने के बाद भी , लोग करें हमारा सम्मान मरने के बाद भी बस एक ऐसा हसीन सपना अपनों के साथ संजोना चाहता हूँ 💗💗💗💗💗💗💗💗💗💗💗💗💗💗💗💗💗💗💗💗💗💗💗💗💗 🤲🤲🤲🤲🤲🤲🤲🤲🤲🤲🤲🤲🤲🤲🤲🤲🤲🤲🤲🤲🤲🤲🤲🤲🤲 ©Sethi Ji #camping #Trending #25March #Sethiji #Zindagi #Life #ishq #nojotoapp