बेबाकी और बेहयाई में धागे भर का फर्क होता है। कलम कब बेबाकी के चक्कर मे बेहयाई कर जाए इसका कोई पैमाना नही होता आपका इल्म और तजुर्बा ही निगेहबान है कलमकारी का। अगर सहमत हों तो अपनी राय दें। बेबाकी और बेहयाई में धागे भर का फर्क होता है। कलम कब बेबाकी के चक्कर मे बेहयाई कर जाए इसका कोई पैमाना नही होता आपका इल्म और तजुर्बा ही निगेहबान है कलमकारी का। अगर सहमत हों तो अपनी राय दें। #kavishala #hindinama #writer #kalam