संघर्ष के इन दिनो में मेरे आँखों में थकान बहुत थी इन आँखों में नीद बहुत थी दिन भर की भागा दौडी. से मैं निराश बहुत थी अचानक मेरी नजर सुरज पे पडी. तो उसने मेरी आँखों को खुब शताया और मेरे से बोला तुम हार बहुत जल्दी मान जाती हो ये तो तुम्हारी जिन्दगी के सुनहरे पल है यही तो वो पल है जो तुम्हे जीना सीखा रहे हैं हर रोज तुम्हे कुछ नया सीखा रहे हैं तुम्हे हालातो से लडना सीखा रहे है और हर रोज तुम्हे बेहतर बना रहे हैं सुरज की किरणो ने हमे ये एहसास कराया और कोई साथ हो ना हो लेकिन हमारे आस पास की चीजें हमारे पास हमेशा रहती हैं इस बात का हमें सुरज की किरणो ने आभास बहुत कराया . #nojoto#Bhawanapandey