कि अपनो की महफिल मे भी भेगाना सा रहता हु ओर हसी के आसमान मे भी उदास रहता हूं ओर जब आ जाए दोस्त मेरै तो गम की महफ़िल में भी महकता हुआ फुल बना रहता हुं ©Suraj Gujjar #Past दोस्ती ज़िन्दगी