प्यार की धार में कुछ इस तरह बहे, नये पड़ावों को नित देखते गए, किस्से हमारे भी बन गये अनकहे, समय की हम रफ़्तार बन गए। । #rztask351 #restzone #rzलेखकसमूह #प्यार