कल से बेहतर आज है आज से बेहतर कल, डूबा हुआ क्यों सोच में, संशय से चल निकल भ्रम है, हमेशा हूँ यहां हम सोचते हर पल, सच जान कर जो दिख रहा, बहुत बड़ा है छल। जो आज है, वो कल नहीं, जो कल में था वो आज है, हमें खोज ने भ्रमित किया, जो,चंद घड़ियाँ साथ है हम कौन है, और कौन थे, किसको पता, क्या लोग थे, जिसकी कहानी लिख रहा, वो मैं हूं या, कोई और थे। ©Senty Poet #no #Svaym #Bhoot #kaal #Love #Dosti #poem #Poet #Time