ज़िन्देगी ही हक़ीक़त दिखाती हैं, और आईना प्रतिबिंब आप मुस्कुराते हो तो आईना रोता नहीं सिख यही मिलती हैं आईने से क़िसी की प्रतिबिंब बन कर ही सही लेकिन उसे ग्यान के रास्ते ले चलो