छाये बादल, नम ठण्ड क्या क्या बिगाड़ लेगी मेरा जब तुम साथ हो, ये भी इसी गली के दीवाने है जिसमे हम खेले साथ हो ! कभी नोकझोक कभी बातो का बतंगड़ हुई एक रात मे हो, मन बहला तो सिर्फ तेरी एक मुलखात मे हो !! खुली किताब है तू तुझे पड़ कर समझ लूंगा, मुझ मे सरफरोसी भी है तेरे बिना ही रह लूंगा ! जब आती है तेरी ओसो वाली बुँदे इनको पास ही रख लूंगा, फिर भी एक हवा का झोंका भेजेगा तू इंकार भी कर दूंगा !! -kavirA ठण्ड कि बहलाती आदयें.... #kavirA#@himanshumasram62...follow this id for tiktok.... 👆👆