नियति को बदलना है तो करो परिश्रम तुम अथक। न पराजित करो मन को समस्या हो कितनी ही विकट। अपने साहस के स्तंभ को कभी तुम डिगने न ही देना, संघर्ष की आग में तप कर तुम्हारा व्यक्तित्व जाएगा निखर। उठो और आगे बढ़ते रहो, ईश्वर का निर्णय भी बदल जाएगा। जब नियति के समक्ष एक सच्चा आत्मबल खड़ा हो जाएगा। न होगी तेरी हार कभी जीवन की दुरह और कठिन परीक्षा मे, अपनी नियति को बदल ईश्वर से मनचाहा वरदान पाएगा। ✍️कृृपया कैप्शन ध्यानपूर्वक पढें। 👇👇👇👇 ✍️ आज का शब्द - "नियति", जिसका अर्थ है किस्मत, भाग्य, विधि, होनी। ✍️ इस पोस्ट को हाईलाइट एवं शेयर करना ना भूले। ✍️ 6 से 8 पंक्तियों में अपनी रचना लिखें।