Tunnel यूँ तो ज़माने भर ने कमियां निकाली है तुझमे, मगर सब सह कर भी तू बेखौफ खड़ा रहा, चोटें भी खाई तूने बहुत लहू तेरा बहता रहा, मगर सब कुछ सह कर तू चट्टान सा खड़ा रहा, लेकर हम सब की उम्मीदों का बोझ अपने कंधे पर, तू मैदान में जिम्मेदारी लेकर सीना तान अड़ा रहा, क्या हुआ जो तू हारा है कभी, मैं जीत और हार में तेरे साथ खड़ा रहा, यूँ तो खत्म होने को है एक कहानी तुझसे जुदा होकर, मगर मैं हँसता रोता बचपन से तेरे साथ खड़ा रहा।। #28