अगर जो मिलता उपवास से भगवान तो गरीब की भूकमरी से ना जाती जान अगर कुंभ मे मिले है पाप से मुक्ती तो कानून कायदे की क्यू करते हम सक्ती अगर गोमूत्र से होते हम शुद्ध तो क्यू तपस्या करते गौतम बुद्ध अगर मंदिर मे धुंडोगे भगवान का साथ तो कबीर और बाकी महात्मा क्यू चिल्लाते, ना मै मंदिर ना हि मस्जिद मे तो हू तेरे साथ