जिक्र तेरा हो तो,मेरी मुस्कान चमक जाती है। जुबां थकती नहीं कहते,मेरी आवाज बदल जाती है। ये तेरा असर है मुझपर,जो जिये जाती हूँ। जो जुदा सोचूँ तो,जैसे सांस बिछड़ जाती है। दिलो-दिमाग पे डाला है,जबसे तुमने पहरा। नजारा कोई भी हो,तेरी ही चाह नजर आती है। मैं बिना सोचे कह देती हूँ तुम्हें हाले-दिल अपना। मेरी नादानियों में मुझे,तुमसे मोहब्बत नजर आती है। ©Akanksha jain #Love #lovebeyondwords #nojotowriters