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White सपना की बारात ------------------------------

White सपना की बारात
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सपना की बारात क्रमशः-------
अभी तक आपने पढ़ा कि सपना शादी टूटने की बात भूलाकर अपने एग्जाम की तैयारी करती और एग्जाम खत्म होने पर वापस घर आती है अब आगे-------
सपना एम.ए.कर चुकी है और पास के एक विद्यालय  में शिक्षण कार्य करने लगी।
इसी बीच सपना के पिता ने रामनगर निवासी मुखिया के बेटे से रिश्ते की बात चलाई,मुखिया का बेटा"शिवा"जो होनहार था साथ ही सपना के अनुरूप गोरी रंगत, शानदार छवि कद काठी का युवक था,उसने सपना से बात करने की इच्छा जाहिर की।सुखराम ने यह बात अपनी पत्नी को बता रहा था, तो कागज पर लिखते हुए सपना के हाथ रूक गये। अगले दिन स्कूल से छुट्टी लेकर शिवा के बताये स्थान पर पहुँची तो शिवा वहाँ पहले से ही उपस्थित था।
सपना को देखकर वह खड़ा हो गया और मुस्कुरा कर बोला-"लगता है इजाजत मिलने में देर लगी इसलिए आने में देर लगी"
शिवा-"क्या घरवालों ने बोलने से मना कर दिया है।"
सपना-"मना उसे किया जाता है जो बोलना नहीं जानता।"
शिवा"चलिए इस बहाने कानों तक तो आपकी आवाज पहुँची, अगर आप उन्हीं न बोलने वाले में से होती तो हम आपकी आवाज को तरस जाते।"
सपना-"आपने यहाँ क्यों बुलाया?"
शिवा-"जाहिर सी बात है आपसे बात करने के लिए।"
बात करते-करते काफी समय बीत गया तब सपना ने घर जाने के लिए कहा दोनों अपने-अपने घर चले जाते हैं।
शिवा को सपना पसंद थी पर वह अपने पिता के दहेज लोभी स्वभाव से अच्छे से परिचित था।
उसे डर था इस लोभ के कारण कहीं उसका रिश्ता न  टूट जाये।इन सभी परेशानी के कारण वह रात भर सो नहीं पाया।
ईधर सुखराम खुश थे कि उन्हें  शिवा जैसा इतना समझदार सुलझा हुआ लड़का मिला है। शादी तय करने जब वह मुखिया के घर पहुँचे तो उन्होंने दहेज की एक लम्बी लिस्ट पकड़ा दी,सुखराम ने दहेज देने में असमर्थता जताई तो उन्होंने ने कठोर शब्दों में पत्थर की भाँति कहा-"दहेज न होगा तो शादी भी न होगी।"
"मरता क्या न करता "उन्होंने ने उनकी शर्तें स्वीकार कर लीं।
ठीक एक महीने बाद  सपना की बारात उसके दरवाजे पर खड़ी थी।
शादी के दो दिन शेष रह गए।
सपना के पिता ने उसकी शादी के लिए घर गिरवी रख दिया था।
सपना को इस बात की चिंता थी कि मेरी शादी के लिए यह घर गिरवी रख दिया तो उसके बाकी भाई-बहनों का क्या होगा?
घर पर तैयारी जोर-शोर से चल रही थी, सपना भी घर के कार्योंमें हाथ बटाँ रही थी।।
सपना घर के दरवाजे पर सजावट कर रही है तभी उसकी बहन सोहना आ जाती है और उसे इस तरह काम करते देख कहती है-अरे यह क्या दीदी दरवाजे पर जीजाजी आपको लेने खड़े हैं और आप काम कर रही हैं।"
सपना-तो क्या वो भी काम करवा देगें"
सोहना-"अरे जीजाजी आये बाद मेंऔर आप काम पहले करवाने लगीं।
सपना-"बातें करने में बहुत एकस्पर्ट है, जाती है या-------।
सोहना"जाती हूँ डाँटती क्यों।"
नाराजगी का नाटक करते हुए सोहना वहाँ से चली जाती है।

क्या सपना की शादी शिवा से हो पायेगी या दहेज के कारण नहीं जानने के लिए बने रहे" कुमकुम गंगवार के साथ --

©Keyurika gangwar #love_shayari सपना की बारात love status love story
White सपना की बारात
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सपना की बारात क्रमशः-------
अभी तक आपने पढ़ा कि सपना शादी टूटने की बात भूलाकर अपने एग्जाम की तैयारी करती और एग्जाम खत्म होने पर वापस घर आती है अब आगे-------
सपना एम.ए.कर चुकी है और पास के एक विद्यालय  में शिक्षण कार्य करने लगी।
इसी बीच सपना के पिता ने रामनगर निवासी मुखिया के बेटे से रिश्ते की बात चलाई,मुखिया का बेटा"शिवा"जो होनहार था साथ ही सपना के अनुरूप गोरी रंगत, शानदार छवि कद काठी का युवक था,उसने सपना से बात करने की इच्छा जाहिर की।सुखराम ने यह बात अपनी पत्नी को बता रहा था, तो कागज पर लिखते हुए सपना के हाथ रूक गये। अगले दिन स्कूल से छुट्टी लेकर शिवा के बताये स्थान पर पहुँची तो शिवा वहाँ पहले से ही उपस्थित था।
सपना को देखकर वह खड़ा हो गया और मुस्कुरा कर बोला-"लगता है इजाजत मिलने में देर लगी इसलिए आने में देर लगी"
शिवा-"क्या घरवालों ने बोलने से मना कर दिया है।"
सपना-"मना उसे किया जाता है जो बोलना नहीं जानता।"
शिवा"चलिए इस बहाने कानों तक तो आपकी आवाज पहुँची, अगर आप उन्हीं न बोलने वाले में से होती तो हम आपकी आवाज को तरस जाते।"
सपना-"आपने यहाँ क्यों बुलाया?"
शिवा-"जाहिर सी बात है आपसे बात करने के लिए।"
बात करते-करते काफी समय बीत गया तब सपना ने घर जाने के लिए कहा दोनों अपने-अपने घर चले जाते हैं।
शिवा को सपना पसंद थी पर वह अपने पिता के दहेज लोभी स्वभाव से अच्छे से परिचित था।
उसे डर था इस लोभ के कारण कहीं उसका रिश्ता न  टूट जाये।इन सभी परेशानी के कारण वह रात भर सो नहीं पाया।
ईधर सुखराम खुश थे कि उन्हें  शिवा जैसा इतना समझदार सुलझा हुआ लड़का मिला है। शादी तय करने जब वह मुखिया के घर पहुँचे तो उन्होंने दहेज की एक लम्बी लिस्ट पकड़ा दी,सुखराम ने दहेज देने में असमर्थता जताई तो उन्होंने ने कठोर शब्दों में पत्थर की भाँति कहा-"दहेज न होगा तो शादी भी न होगी।"
"मरता क्या न करता "उन्होंने ने उनकी शर्तें स्वीकार कर लीं।
ठीक एक महीने बाद  सपना की बारात उसके दरवाजे पर खड़ी थी।
शादी के दो दिन शेष रह गए।
सपना के पिता ने उसकी शादी के लिए घर गिरवी रख दिया था।
सपना को इस बात की चिंता थी कि मेरी शादी के लिए यह घर गिरवी रख दिया तो उसके बाकी भाई-बहनों का क्या होगा?
घर पर तैयारी जोर-शोर से चल रही थी, सपना भी घर के कार्योंमें हाथ बटाँ रही थी।।
सपना घर के दरवाजे पर सजावट कर रही है तभी उसकी बहन सोहना आ जाती है और उसे इस तरह काम करते देख कहती है-अरे यह क्या दीदी दरवाजे पर जीजाजी आपको लेने खड़े हैं और आप काम कर रही हैं।"
सपना-तो क्या वो भी काम करवा देगें"
सोहना-"अरे जीजाजी आये बाद मेंऔर आप काम पहले करवाने लगीं।
सपना-"बातें करने में बहुत एकस्पर्ट है, जाती है या-------।
सोहना"जाती हूँ डाँटती क्यों।"
नाराजगी का नाटक करते हुए सोहना वहाँ से चली जाती है।

क्या सपना की शादी शिवा से हो पायेगी या दहेज के कारण नहीं जानने के लिए बने रहे" कुमकुम गंगवार के साथ --

©Keyurika gangwar #love_shayari सपना की बारात love status love story