बेबसी के आलम को देखो मेरे, जो पास होकर भी तुमसे कभी ना कुछ कह पाये, तुम आज खड़े हो मजार पर मेरे और आज भी है ताबूत मे तुमसे नजरे झिपाये, एक बार लिपट कर देखो मेरे मिट्टी से कितने आंसू कितने गम कितनी खुशीया कितनी मोहाब्बत है छिपाये, बेबसी के आलम को देखो मेरे, जो पास होकर भी कुछ ना कह पाये,,, #बेबसी #गम